कुशल वित्तीय बाजार क्या हैं?
कुशल वित्तीय बाजार का अर्थ (Meaning efficient financial market)— भारत में यह दो रूपों में प्रचलित है।
एक कुशल वित्तीय बाजार से आशय उस बाजार से है जिसमें सभी विनियोगों पर जोखिम समायोजित प्रत्याशित प्रतिफल (Risk Adjusted Expected Returns) बराबर रहते हैं अर्थात् एक बॉण्ड पर जो कमाने की आशा की जाती है, वह समान जोखिम वाली किसी अन्य परिसम्पत्ति पर अर्जन (Earnings) के ठीक बराबर होती है।
यदि कोई बॉण्ड किसी अन्य बॉण्ड की अपेक्षा प्रतिफल की ऊँची जोखिम समायोजित प्रत्याशित दर अर्जित करता है तो विनियोजक शीघ्र ही उस बॉण्ड को क्रय करने का प्रयास करेंगे जिससे उस बॉण्ड की कीमत बढ़ जाने के कारण उसका प्रत्याशित प्रतिफल कम हो जायेगा। अन्ततः समान जोखिम वाले बॉण्डों का प्रतिफल समान हो जाएगा।
कुशल वित्तीय बाजार का वर्गीकरण
वित्तीय बाजारों को कुशलता के आधार पर निम्नलिखित तीन भागों में बाँट सकते हैं।
(अ) कुशल बाजार का अशक्त स्वरूप (Weak Form of Efficient Market)- इस प्रकार के बाजार में बॉण्ड कीमत का अगली अवधि के लिए श्रेष्ठ पूर्वानुमान इसी अवधि की कीमत के आधार पर किया जाता है। इस पूर्वानुामन को बॉण्ड कीमत पर उपलब्ध कोई भी पिछली सूचना सुधार नहीं सकती है।
(ब) कुशल बाजार का अर्द्ध-सशक्त स्वरूप (Semi-strong Form of Effecient Market)- इस प्रकार के बाजार में बॉण्ड की वर्तमान कीमत उसकी भविष्य की कीमतों का श्रेष्ठ पूर्वानुमान करने वाली होती है, परन्तु कोई भी उपलब्ध सूचना बॉण्डों अथवा परिसम्पत्तियों की भविष्य में कीमतों या प्रतिफलों का पूर्वानुमान करने में सहायक नहीं होगी। ऐसी सूचना में परिसम्पत्तियों की पिछली कीमतें, ब्याज दरें, लाभ आदि शामिल होते हैं, परन्तु कोई स्टॉक का दलाल कम्पनी की आन्तरिक सूचना के आधार पर बॉण्डों को बेच या खरीदकर भविष्य में लाभ अर्जित कर सकता है।
(स) कुशल बाजार का सशक्त स्वरूप (Strong Form of Efficient Market)- इस प्रकार के बाजार के स्वरूप में कोई भी उपलब्ध वर्तमान सूचना एक परिसम्पत्ति कीमत के हाल में ज्ञात मूल्य का उपोग करके उस परिसम्पत्ति के भविष्य में मूल्य का पूर्वानुमान करने के लिए सुधार नहीं कर सकती। हाँ, कम्पनी की आन्तरिक सूचना स्टॉक कीमत की गतियों का पूर्वानुमान लगाने में सहायक हो सकती है।
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